सेक्स जीवन के लिए कितना तकलीफ देह है तनाव- कारण व निवारण - The Light Of Ayurveda : An Info Website for Health and Ayurveda.

Breaking

Whats app

Ayurveda Ancient Natural Traditional Medical Science

WWW.AYURVEDLIGHT.BLOGSPOT.COM

मंगलवार, 1 नवंबर 2016

सेक्स जीवन के लिए कितना तकलीफ देह है तनाव- कारण व निवारण

तनाव और तनाव ग्रस्तता में सेक्स किस हद तक तकलीफदेह हो सकता हैI किस प्रकार  तनाव सेक्स को प्रभावित कर सकता है?और इस तनाव का समाप्त करने के लिए आप क्या कर सकते हैं?

सेक्स जीवन के लिए घातक है तनाव
सेक्स और तनाव

रिसर्च से पता चलता है कि कैसे रोज रोज का  तनाव हमारे सेक्स जीवन को नुकसान पहुँचाता हैंI
 जीवन का तनाव आपके स्वास्थ्य पर बुरा असर डाल सकता है और इसके कारण आपकी पढ़ाई ,आपकी नींद और आपका सेक्स जीवन भी प्रभावित होता  हैI तनाव अनेकों प्रकार से हमारे सामने आता हैI आइये जाने कैसे इसका सामना किया जाये

 कनाडा के कुछ शोधकर्ताओं ने इंटरनेट पर तनाव और सेक्स से जुड़ा एक सर्वे किया जिसमें रोज़मर्रा के जीवन में आने वाले तनाव और सेक्स पर उसके असर से जुडी प्रश्नावली के ज़रिये होने वाले इस सर्वे के लिए उन्हौने  155 महिलाओं और 90 पुरुषों से संपर्क कियाI इस प्रश्नावली में लगभग वो सभी बिंदु सम्मिलित थे जो रोज़मर्रा के जीवन में तनाव का कारण बन सकते हैं, बिजली के बिल के भुगतान से लेकर, वातावरण में प्रदूषण, ट्रैफिक और जीवन को सही अर्थों की समझ तक के सभी प्रश्न I

सर्वे में भाग लेने वाले लोगों ने अपने सेक्स जीवन से जुडी अंतरंग जानकारी भी शोधकर्ताओं के साथ साझा की, जैसे कि क्या उन्हें कोई निराशा या चिंता परेशान कर रही है? जब शोधकर्ताओं ने सारी जानकारी अर्जित करके जब आँकलन किया और तनाव की गहनता के आधार पर उसे 5 मुख्य भागों में बाँट दिया जो निम्न प्रकार से था। 

तनाव के प्रकार-----



  • व्यक्तिगत तनाव-----जैसे मुझे डिनर पर क्या बनाना चाहिये? या फिर मेरी मौत कब होगी?
  • आर्थिक तनाव------जैसे मकान का किराया कैसे भरा जाऐ ?  या फिर अगर नौकरी चली गयी तो क्या करुँगा ?
  • सामाजिक और आर्थिक वर्गीकरण तनाव-----जैसे --- मेरा घर अच्छे इलाके में नहीं हैं या पड़ोसी  हमारे स्तर के नहीं हैं ?
  • नौकरी से जुड़े तनाव----- जैसे-- मेरा बॉस का नेचर अच्छा नही है ?
  • समय का तनाव--- जैसे:--- काम बहुत ज़्यादा है और समय काम ?

तनाव का प्रभाव महिलाओं पर अधिक

ये बात तय है कि तनाव का दुष्प्रभाव महिला और पुरुष दोनों के सेक्स जीवन पर पड़ता हैI "जब आपके दिमाग में पैसे से जुड़ा या काम से जुड़ा तनाव हो, तो ये स्वाभाविक है कि अपने साथी पर ध्यान केंद्रित करना और सेक्स के लिए ऊटेजांना महसूस करना आसान नहीं है," शोधकर्ता डॉ लिसा डॉन हैमिलटन ने लव मैटर्स को बतायाI इसकी असल वजह खुद तनाव है या फिर इस तनाव के कारण हुई निराशा है, ये पता लगाना मुश्किल है क्यूंकि इनका गहरा सम्बन्ध हैI
रिसर्च ने ये भी खुलासा किया कि रोज़मर्रा के इस तनाव के नुकसानों का प्रभाव महिलाओं पर पुरुषों से अधिक होता हैI "महिलाएं अक्सर काम पैसा कमेटी है, घर के कामों में पुरुषों से ज़्यादा उलझी रहती हैं," डॉ हैमिलटन कहती हैंI इन सभी बातों कि चिंता के साथ उनका दिमाग सेक्स पर लग पाना और उसका लुत्फ़ उठा पाना थोड़ा मुश्किल हो जाता हैI
तो आखिर सभी तनावों में से महिलाओं को सबस एज़्यादा कौनसा तनाव प्रभावित करता है? जी हाँ! अपने सही अंदाज़ा लगाया, 'पैसे' का तनाव महिलाओं को सबसे अधिक परेशान करता हैI उसके बाद बारी आती है अर्थी और सामाजिक वर्गीकरण से जुड़े तनाव कीI "सबसे खतरनाक वो तनाव होते हैं जिन पर आपका चाहकर भी कोई नियंत्रण नहीं होता," डॉ हैमिलटन का कहना हैI

तनाव से मुक्ति केउपाय या तनाव दूर करने के उपाय ---

फालतू बाते छोड़े अपने आज पर ध्यान दें

निष्कर्ष यही है कि सेक्स को बेहतर अनुभव करने के लिए तनाव का अंत करना ज़रूरी है ? हाँ, यह  कहना तो आसान है लेकिन शायद करना मुश्किल होगाIजैसे यह कहना बहुत आसान है कि पैसे की चिंता मत कीजिये- बस अमीर बन जाइये?
लैकिन फिर भी आप तनाव के कारणों को अगर ख़त्म नहीं कर सकते हैं तो कोई बात नही  लेकिन आप अपने आप पर इनके दुष्प्रभाव को रोक सकते हैं, और वो तरीका है  मैडिटेशन(ध्यान) का जो एक असरदार तरीका हैI
रिसर्च दर्शाती है की ये तकनीकें तनाव का स्तर नीचे ला सकती हैI मैडिटेशन आपको भविष्य या भूतकाल से  वर्तमान में लाने में लाकर आपका ध्यान केंद्रित करने में मदद करता हैI इसके अलावा सेक्स की एक प्राचीन भारतीय तकनीक, 'तांत्रिक सेक्स' भी तनाव को दूर करने में असरदार पायी गयी हैI सारी समस्या और उसके समाधान का सार असल में उस पल पर ध्यान केंद्रित करने के बारे में है जो आप अपने साथी के साथ बिस्तर में गुज़ारते हैं, है ना?

तनाव के कारण और प्रकार----

किस कारण होता है तनाव और यह किस प्रकार का हैः---- 

वैसे तो मानव का जीवन अनेक प्रकार के तनावों से भरा होता है और इन सभी तनावों के कारण सेक्स जीवन प्रभावित होता है।लेकिन जब सेक्स जीवन इन तनावों से ग्रस्त होता है तो और भी ज्यादा मानसिक तनाव उत्पन्न होने लगते हैं जिससे स्त्री-पुरुष दोनों में ही अनेकों मानसिक व शारीरिक रोग पैदा होने लगते हैं।
कहा जाता है कि प्रत्येक प्रकार के तनाव का इलाज है सेक्स किन्तु कभी कभी स्थिति उल्टी हो जाती है और तनाव भी सेक्स में दूरी का कारण बन जाता है। जिनमें तनाव के निम्नलिखित कारण हो सकते हैं।

पारिवारिक तनावः

परिवार में जब किसी प्रकार की समस्या उत्पन्न होती है तो उससे मानसिक तनाव पैदा होता है। इस तरह का तनाव किसी भी प्रकार का हो सकता है जैसे- पति-पत्नी का झगड़ा, बच्चों की लड़ाई, परिवार के किसी सदस्य से झगड़ा होना आदि।

मानसिक तनावः

चिंता, शंका, भ्रम, शोक, विछोह, संकोच, भय, क्रोध, घृणा, लज्जा, अहंकार, आत्महीनता, अति महत्वकांक्षा और सेक्स अनिच्छा आदि कारणों से मानसिक तनाव पैदा होता है।

शारीरिक तनावः

सेक्स रोग, किसी प्रकार की लम्बी बीमारी, हृदय रोग, कमजोरी, कैंसर, कामविकृति, थकावट तथा उम्र का प्रभाव आदि कारणों से भी तनाव उत्पन्न होता है।

सामाजिक तनावः

सामाजिक बहिष्कार, मान-प्रतिष्ठा का धक्का, जातिभेद, लड़की के विवाह की चिंता एवं लड़की का घर से भाग जाना आदि कारणों से भी तनाव उत्पन्न होता है।

आर्थिक तनावः

गरीबी, बेरोजगारी, इन्कमटैक्स, शेयर बाजार, इन्वेस्टमेंट, घरेलू जरूरतें, मकान का किराया, स्कूल की फीस और पत्नी की फर्माइश आदि कारणों से भी तनाव उत्पन्न होता है।

व्यवसायिक तनावः

बिजनेस में घाटा होना, नौकरी का न मिलना तथा किसी काम में मन न लगना आदि कारणों से भी तनाव उत्पन्न होता है।
इसके अतिरिक्त बसों के लिए लम्बी लाइनों में खड़े होना, लोकल ट्रेन के भीड़-भाड़ में सफर करना एवं ट्रैफिक जाम आदि कारणों से तनाव उत्पन्न होना।
इन सभी कारणों से तनाव उत्पन्न होता है जिसका असर व्यक्ति के सेक्स जीवन पर पड़ता है


कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें

हमारी वेवसाइट पर पधारने के लिए आपका धन्यबाद

OUR AIM

ध्यान दें-

हमारा उद्देश्य सम्पूर्ण विश्व में आय़ुर्वेद सम्बंधी ज्ञान को फैलाना है।हम औषधियों व अन्य चिकित्सा पद्धतियों के बारे मे जानकारियां देने में पूर्ण सावधानी वरतते हैं, फिर भी पाठकों को सलाह दी जाती है कि वे किसी भी औषधि या पद्धति का प्रयोग किसी योग्य चिकित्सक की देखरेख में ही करें। सम्पादक या प्रकाशक किसी भी इलाज, पद्धति या लेख के वारे में उत्तरदायी नही हैं।
हम अपने सभी पाठकों से आशा करते हैं कि अगर उनके पास भी आयुर्वेद से जुङी कोई जानकारी है तो आयुर्वेद के प्रकाश को दुनिया के सामने लाने के लिए कम्प्युटर पर वैठें तथा लिख भेजे हमें हमारे पास और यह आपके अपने नाम से ही प्रकाशित किया जाएगा।
जो लेख आपको अच्छा लगे उस पर
कृपया टिप्पणी करना न भूलें आपकी टिप्पणी हमें प्रोत्साहित करने वाली होनी चाहिए।जिससे हम और अच्छा लिख पाऐंगे।

Email Subscription

Enter your email address:

Delivered by FeedBurner